क्यूँ होता है नाग इतना ज़हरीला
(लेखक: दीप रजवाड़)
कोर्बेट अपनी जेव विविधता के लिए जाना जाता है और यहाँ तरह तरह के सांप पाये जाते है जिनमे स प्रसिद्ध चार ज़हरीले सांप किंग कोबरा, इंडीयन कोबरा , रसेल वाइपर और करैत प्रमुख है। इन चार प्रमुख ज़हरीले सापों में से हमारे देश मैं सबसे अधिक मौतें इंडीयन कोबरा यानि कि नाग के काटने से होती है। इसके अलावा तक़रीबन ३० -३२ प्रकार के बिना ज़हर के साँप भी पाये जाते है।
हिंदू धर्म में सांप को देवता का दर्जा दिया गया है और नागपंचमी को नागपूजन का विशेष पर्व भी माना जाता है। परंतु यह भी पूर्णत: सत्य है, कि नाग धरती पर सबसे विषैले जंतुओं में से एक है। नाग भारतीय उपमहाद्वीप का जहरीला सांप है। यद्यपि इसका विष करैत जितना घातक नहीं है और यह रसेल्स वाइपर जैसा आक्रामक नहीं है। किन्तु भारत में सबसे अधिक लोग इस सर्प के काटने से मरते हैं क्योंकि यह सभी जगह बहुतायत में पाया जाता है। यह चूहे खाता है जिसके कारण अक्सर यह मानव बस्तियों के आसपास, खेतों में एवं शहरी इलाकों के बाहरी भागों में अधिक मात्रा में पाया जाता है।
भारत में नाग लगभग सभी इलाकों में आसानी से देखने को मिलते है। यह एशिया के उन चार सांपो में से एक है जिनके काटने से अधिक लोग मरते है ज्यादा तर भारत में ये घटना होती है। नाग एक अंत्यन्त ज़हरीला सांप है जिसके अगले छोटे विष-दाँत जहर उगलते हैं। भारतीय नाग में न्यूरोटॉक्सिन जहर पाया जाता है। यह जहर शिकार के तंत्रिका तंत्र को पंगु बना देता है शरीर को लकवा मार जाता है। इसके काटने से मुंह से झाग निकलने लगता है और आँखों की रोशनी धुंधला जाती है। समय पर उपचार न मिलने पर इसका शिकार या इंसान अंधा हो जाता है और अंतत: मर जाता है।
अधिकांश कोबरा आम तौर पर एकान्त और पूर्ण जीव होते हैं। ये तटबंधों में छेद, पेड़ के खोखले, दीमक के टीले, चट्टान के ढेर और छोटे स्तनपायी डेंसियों में अपना डेरा बनाते हैं। ख़तरा महसूस होने पे या प्रतिद्वंधि को डराने में ये अपने फन को फैला लेते है और ज़ोर ज़ोर से फुँकार मारते है जो काफ़ी डरावनी होती है। एक वयस्क नाग की लंबाई 1 मीटर से 1.5 मीटर (3.3 से 4.9 फिट) तक हो सकती है। भारत में कोबरा वन्यजीव संरक्षण की अनुसूची द्वितीय अधिनियम, 1972 के अंतर्गत संरक्षण प्राप्त है और इसको मारने पर 6 साल तक के लिए कैद हो सकती है या इसकी हत्या के दोषी के तहत रखा जाता है।
हम लोग सांप को अपना दुश्मन मानते है और जागरूकता के अभाव में उसे मार देते है। जो कि गलत है भोजन शृंखला में उनका अपना योगदान है और वे इसमें बहुत महत्वपूर्ण भूमिका निभाते है। बरसातों में इनके बिलों में पानी भर जाने के कारण ये मानव बस्तियों की और रुख़ करते है। सावधानी के लिए ऐसी जगह को साफ़ रखें जहाँ ये छुप सकते हैं और जुते पहन्ने से पहले उसको ढंग से देख लें कभी कभी ये जूतों के अंदर भी छुप जाते है।
यदि एक व्यक्ति को एक सांप काट ले तो यह महत्वपूर्ण है कि वह शांत रहे, काटे गए क्षेत्र को न हिलाए, और गहने या तंग कपड़े हटा दे। आपातकालीन चिकित्सा देखभाल जितनी जल्दी संभव हो प्राप्त की जानी चाहिए। सांप के काटने की स्थिति में कई बार यह पता नहीं होता कि क्या किया जाए और क्या नहीं। ऐसे में एक छोटी सी गलती भी पीड़ित व्यक्ति को मौत के मुंह में ले जा सकती है। आइए जानते हैं कि सांप के काटने पर क्या करें :-
- किसी व्यक्ति को सांप काटने पर सबसे पहले उसे सीधा लेटा दें, और बिना विलंब किए जल्द से जल्द अस्पताल ले जाने का प्रयास करें।
- सांप को अच्छी तरह देखने और पहचानने की कोशिश करें, ताकि सांप का हुलिया बताने से चिकित्सक को इलाज करने में आसानी हो।
- मरीज को शांत रखने की कोशिश करें। मरीज जितना उत्तेजित रहेगा उसका रक्तचाप भी उसी गति से बढ़ेगा।
- पीड़ित व्यक्ति के शरीर पर से सारी चीजें जैसे घड़ी, कड़ा, कंगन, अंगूठी, पायल, चेन व जूते चप्पल आदि सभी चीजें उतार लें।
- व्यक्ति को बेहोश नहीं होने दें, अगर वह बेहोशी की हालत में हो भी तो उसकी सांसों पर ध्यान रखें और गर्माहट प्रदान करने का पूरा प्रयास करें।
- यदि हाथ में सांप ने काटा है तो उसे नीचे की ओर लटकाकर रखें ताकि जहर दिल तक पहुंचने में वक्त लग सके।
- यदि पैर में काटा है तो पलंग पर इस तरह लिटा दें ताकि मरीज के पैर नीचे लटके रहें।
साँप के दिखने पर उनको मारने के बजाय वन विभाग या जो लोग उनको पकड़ कर छोड़ने का काम कर रहें है उनको सूचित करें.आपके एक छोटे प्रयास से इनकी जान बच सकती है।
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